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कोरबा

पाली-तानाखार विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस का महिला कार्ड के खेल से भाजपा-गोंडवाना बेचैन

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कोरबा/पाली । छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव के लिए सभी सीटों पर मुकाबला अब स्पष्ट हो गया है और कहां किसके – किसके बीच सीधा मुकाबला होगा या त्रिकोणीय मुकाबला होगा यह भी स्पष्ट हो चुका है। पाली-तानाखार विधानसभा क्षेत्र आज भी पूरे छत्तीसगढ़ में एक ऐसी सीट है, जो भाजपा के लिए सबसे बड़ा सिरदर्द है। इस बार भी भाजपा ने पूर्व विधायक रामदयाल उइके को अपना प्रत्याशी बनाया है। पिछले बार वे यहां से तीसरे नंबर पर खिसक गए थे। रामदयाल उइके पाली तानाखार से ही कांग्रेस की टिकिट पर चुनाव लड़ते आ रहे थे और जीतते रहे। पिछले 2018 के चुनाव से पूर्व उइके ने कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हो गए थे और कांग्रेस के कुछ नेताओं पर प्रताड़ित करने का आरोप लगाकर सनसनी फैला दी थी और भाजपा की टिकिट से पाली तानाखार जीतने निकले थे लेकिन प्रतिद्वंदी नहीं बल्कि तीसरे नंबर पर खिसक गए।
यहां पिछले 30 साल से भाजपा न सिर्फ सत्ता से बाहर है, बल्कि पिछले छह विधानसभा चुनावों में लगातार तीसरे नंबर पर आती रही है। लेकिन इस बार यहां कांटे का मुकाबला देखने को मिल सकता है। पाली तानाखार विधानसभा सीट का समीकरण: ऐसा माना जा रहा है कि पिछले चुनाव की तरह ही इस बार भी कांग्रेस और गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के बीच यहां सीधी टक्कर देखने को मिलेगी। कांग्रेस ने महिला कार्ड खेलते हुए दुलेश्वरी सिदार को टिकट दिया है। गोंगपा सुप्रीमो हीरा सिंह मरकाम का निधन हो जाने के बाद विरासत में मिली राजनीति को आगे बढ़ाने का काम उनका पुत्र तुलेश्वर सिंह मरकाम कर रहे हैं और गोंडवाना से वे इस विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे हैं। यहां मुकाबला त्रिकोणीय हो चला है, लेकिन यहां इस बार भी कांग्रेस की जीत पक्की मान रहे हैंं, क्योंकि इस बार कांग्रेस ने महिला प्रत्याशी को चुनाव मैदान में उतारा है और यहां दुलेश्वरी सिदार के खिलाफ कांग्रेस का कोई भी कार्यकर्ता नहीं जा रहा है और एक जुटता से कांग्रेस प्रत्याशी की जीत तय मानी जा रही है। महिला प्रत्याशी होने के कारण भाजपा- गोंडवाना बेचैन दिखाई दे रहे हैं।
हीरा सिंह के निधन के बाद उनके पुत्र तुलेश्वर मरकाम पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं, जो पाली तानाखार सीट से चुनाव लड़ रहे हैं। हालांकि बीजेपी ने अपने यहां के पूर्व विधायक रामदयाल उइके को भाजपा से दोबारा टिकट दिया है, जो पहले कांग्रेस में थे और पिछली बार ठीक चुनाव के पहले कांग्रेस से भाजपा में शामिल हुए थे।
कांग्रेस ने महिला प्रत्याशी को उतारा इस बार कांग्रेस ने पाली तानाखार विधानसभा सीट पर महिला कार्ड खेला है। कांग्रेस ने अपने सीटिंग एमएलए मोहित केरकेट्टा का टिकट काटकर एंटी इनकम्बेंसी को काउंटर करने की कोशिश की है। दुलेश्वरी सिदार जनपद पंचायत पाली की अध्यक्ष भी हैं। दुलेश्वरी पहले गोंगपा से प्रभावित थी। जनपद अध्यक्ष का चुनाव भी उन्होंने गोंगपा से ही जीता था। इसके चलते क्षेत्र की जनता के बीच उनकी अच्छी पकड़ है और गोंडवाना समाज में एक क्षेत्र की अम्मा मानी जाती हैं, उस क्षेत्र के गोंडवाना समाज के लोग उन्हें माई कह कर पुकारते हैं। माना जा रहा है कि इसका प्रभाव पाली तानाखार में भी पड़ेगा और गोंडवाना वोट छिटक कर कांग्रेस में आएंगे।
पिछले 6 चुनावों में तीसरे नंबर पर रही भाजपा-
पाली तानाखार विधानसभा सीट ऐसा विधानसभा क्षेत्र है, जहां 1993 से लेकर 2018 तक हुए 6 चुनावों में भाजपा तीसरे नंबर पर रही है। हालांकि भाजपा ने 33 साल पहले 1990 में इस सीट से चुनाव जरूर जीता था. 2023 में भाजपा प्रत्याशी रामदयाल उइके इसी सीट से 3 बार विधायक रहे चुके हैं। लेकिन वह कांग्रेस की टिकट पर चुनाव जीते थे। 2018 में उन्होंने भाजपा से चुनाव लड़ा, लेकिन पराजय का सामना करना पड़ा।
कांग्रेस और गोंगपा के बीच सीधी टक्कर-
1993 से लेकर 2018 तक इस सीट पर कांग्रेस और गोंगपा के बीच सीधी टक्कर होती रही है। 1998 के चुनाव में गोंगपा उम्मीदवार हीरा सिंह मरकाम को जीत मिली थी। 1993, 2003, 2008, 2013, 2018 के चुनाव में कांग्रेस ने जीत हासिल किया। जबकि भाजपा ने इस सीट पर 1985 और 1990 के चुनाव में जीत हासिल की थी. बहरहाल देखना यह होगा कि क्या गोंगपा के तुलेश्वर सिंह मरकाम पिता का सपना पूरा करते हैं। क्या रामदयाल उईके भाजपा के नंबर को ऊपर लाने में कामयाब होते हैं या फिर कांग्रेस को और अधिक लीड मिलेगी।पाली तनाखार में 60 साल बाद महिला उम्मीदवार
पाली तानाखार विधानसभा सीट पर 1972 के चुनाव में कांग्रेस ने महिला प्रत्याशी यज्ञसेनी देवी को टिकट दी थी, लेकिन तब निर्दलीय प्रत्याशी लालकीर्ति कुमार ने कांग्रेस को हरा दिया था। हालांकि 1962 और 1957 के चुनाव में यज्ञसेनी देवी ने बतौर कांग्रेस प्रत्याशी जीत हासिल की थी, इसके बाद 1957 से लेकर 2018 तक हुए चुनाव में कांग्रेस ने 8 बार 2 बार निर्दलीय, 2 बार भाजपा और एक-एक दफा गोंगपा और जनता पार्टी को जीत मिली है।हीरा सिंह की गैर मौजूदगी में गोगपा को नुकसान
इस बार के विधानसभा चुनाव में हीरा सिंह मरकाम नहीं हैं। गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के पूर्व प्रमुख हीरा सिंह मरकाम का निधन होने के बाद उनके बेटे तुलेश्वर मरकाम अब पार्टी के सुप्रीमो हैं। ऐसा माना जा रहा है कि हीरा सिंह मरकाम के नहीं होने से गोंगपा को नुकसान होगा। पार्टी के वोट बैंक पर भाजपा और कांग्रेस दोनों की नजर है, बावजूद इसके पुराने ट्रैक रिकार्ड को देखते हुए यह कहा जा सकता है कि मुकाबला कांग्रेस बनाम गोंगपा होना तय है।

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कोरबा

वनविभाग आई एक्शन मोड में, बांकीमोंगरा क्षेत्र मे विभाग ने चलाया बुलडोजर, देखते रहे बेजाकब्जा धारी,,,।

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संवाददाता साबीर अंसारी

बांकीमोंगरा:– थाना बांकीमोंगरा क्षेत्र अंतर्गत वन विभाग का बांस बाड़ी जो इंदिरा नगर में है, जहां काफी लंबे अर्शे से वन विभाग ने अपना जोन (डिपो) बना रक्खा है, जहां के बेखौफ स्थानीय लोगों के द्वारा जोन के ठीक बाजू से 10 मीटर के दूरी से ही वन भूमि को कब्जा कर मकान निर्माण किया हुआ था जिनको पहले भी कई बार नोटिस दिया जा चुका था पर कोई कार्यवाही नहीं की गई थी। कार्यवाही न होने के वजह से कब्जाधारी लोगों को कोई डर ही नहीं था और अभी वर्तमान में उनके द्वारा बिना किसी डर के धड़ल्ले से वन भूमि में निर्माण का कार्य किया जा रहा था जो लगभग वन भूमि के अंदर 100 मीटर तक घुस कब्जा कर लिए थे,,,।

इस बढ़ते कब्जे को देख वन विभाग के द्वारा 8 कब्जाधारियों को चिन्हित कर दिनांक 29/05/25 को शॉर्ट नोटिस दिया गया,,, जिसमें 4 लोगों ने कब्जा भूमि पर पक्का मकान निर्माण करा लिया था और चार लोग बाड़ी बनाए हुए थे, और इस बार भी लोग नोटिस को नजरअंदाज करते हुए अपना कब्जा बरकरार रखा जिसके बाद दिनांक 04/06/25 को वन विभाग का अमला सुबह सुबह पूरे विभाग के दल बल के साथ बुलडोजर लेकर बांस बाड़ी के पीछे पंहुचा, और चिन्हित लोगों के बेजा कब्ज़ा को तोडना शुरू कर दिया, बेजाकब्जा धारियों ने विरोध करने की कोशिश की पर नाकाम रहे और वन अमला अपना काम करता रहा।

बेजा कब्जा हटाने के बाद विभाग द्वारा स्थानीय लोगों को कड़ी शब्दों में हिदायत दी गई कि वन भूमि के दायरे अंदर जो भी कब्जा करेगा उन सब पर कार्यवाही की जाएगी,,।

जानकारी के अनुसार इसी क्षेत्र में जल्द ही एक बार फिर हो सकती है कार्यवाही।

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कोरबा

कांगे्रस का संविधान बचाओ आंदोलन : वक्ताओं ने कहा – संविधान बदलने भाजपा की साजिश कभी सफल नहीं होगी

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कोरबा। भाजपा की नफरत में डूबी बयानबाजी, भारत के सामाजिक ताने – बाने के लिए एक गंभीर खतरा है। इस नफरत का एकमात्र विकल्प हमारे सविंधान में निहित संदेश है । यह एक ऐसा विचार है, जो भारत के नागरिकों को परस्पर सम्मान, प्रेम और सबके सम्मिलित उत्थान के लिए मिलकर काम करने की प्रतिबद्धता के आधार पर एकबद्ध करता है ।


उक्त कथन सांसद श्रीमती ज्योत्सना महंत ने कोरबा सुभाष चौक पर आयोजित विधानसभा स्तरीय सविंधान बचाओ आंदोलन की आमसभा में अपने उद्बोधन में व्यक्त किया। सांसद महंत ने आगे कहा कि भारत में दो विचारधाराएं है, एक जो सविंधान की रक्षा करती है तथा समानता और एकता की बात करती है और दूसरी विचारधारा सविंधान खतम करने वालों की है ।


पूर्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल ने अपने उद्बोधन में कहा कि हम सविंधान की रक्षा करते रहेंगे । यह सविंधान डॉ.अंबेडकर जी, महात्मा गांधी जी और देश के हर नागरिक का सविंधान है, इसलिए हम सबको इसकी रक्षा करनी चाहिए। किसी भी हालात में हमें, हमारे सविंधान को नष्ट नहीं होने देंगे। कार्यक्रम के प्रारंभ में डॉ.भीमराव अंबेडकर के तैल्यचित्र एवं नेताजी सुभाषचंद्र बोस की प्रतिमा के समक्ष पुष्पांजली अर्पित कर उन्हें नमन किया गया ।
जिला कांग्रेस शहर अध्यक्ष नत्थुलाल यादव ने कहा कि भाजपा भारत में धर्म, भाषा और जाति के नाम पर नफरत फैलाने का काम रही है । कांग्रेस इस नफरत का खिलाफत करते रहेगी ।


जिला कांग्रेस ग्रामीण अध्यक्ष मनोज चौहान ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने हमेशा से भारत को एकजूट रखने की कोशिश की है। श्रीमती इंदिरा गांधी और राजीव गांधी देश को एकजूट रखने के लिए अंतिम सांस तक कार्य करते रहे और शहीद हुए।


पूर्व महापौर राजकिशोर प्रसाद ने कहा कि देश की संपत्ति को केन्द्र सरकार द्वारा लगातार बेची जा रही है । रेल्वे स्टेशनों पर वेटिंग हॉल में प्रति घण्टे के दर से किराया देना पड़ रहा है ।
प्रदेश कांग्रेस सचिव विकास सिंह ने कहा कि देश और प्रदेश में जो सरकार चल रही है, वह सविंधान को तोडऩे और बदलने का असफल प्रयास कर रही है। उनका यह प्रयास कभी भी सफल नहीं होगा ।
श्याम सुंदर सोनी ने कहा कि जिस तरह से केन्द्र सरकार की भाजपा सरकार सविंधान के साथ छेड़छाड़ कर रही है, वह चिंता का विषय है। सविंधान से हम सबको अधिकार मिले हैं। केन्द्र सरकार तमाम जांच एजेंसी को अपना एजेंट बनाकर विपक्ष को परेशान करने में लगी है। यह विषय भी सविंधान के नियमों के विरूद्ध है
कार्यक्रम में दुलेश्वरी सिदार, सूरज महंत, रेखा त्रिपाठी, उपनेता प्रतिपक्ष डॉ.रामगोपाल कुर्रे, सांसद प्रतिनिधि मोहन प्रधान, सुरेश सहगल, सपना चैहान, बी एन सिंह, कुसुम द्विवेदी, प्रदीप पुरायणे, राकेश पंकज, सुभाष राठौर, संतोष राठौर, सुकसागर निर्मलकर, बसंत चंद्रा, दुष्यंत शर्मा, रमेश जायसवाल, जयप्रकाश यादव, राजेन्द्र तिवारी, बद्रीकिरण, नारायण कुर्रे, अविनाश बंजारे, मस्तुल कंवर, रवि चंदेल, अनुज जायसवाल, अर्जुन सिंह, आकाश पटेल, पालुराम साहू, अश्वनी पटेल, मनक साहू, अतुल दास, गिरधारी बरेठ, रमेश वर्मा, राजेश यादव, लक्ष्मी महंत, दीपक राठौर, शशिलता पाण्डेय, राजेन्द्र ठाकुर, रामकुमार राठौर, गणेश दास, जीवन चैहान ने भी संबोधित किया।
कार्यक्रम का सफल संचालन नेता प्रतिपक्ष कृपाराम साहू ने किया और अंत में पार्षद मुकेश राठौर ने आभार व्यक्त किया ।

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कोरबा

X-बॉयफ्रेंड बोला- तू मुझे छोड़ नहीं सकती, फिर मारा चाकू:नाबालिग लड़की बोली- उसने जेल से छूटने के बाद भी मारने की धमकी दी

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कोरबा,एजेंसी। कोरबा जिले में एक्स बॉयफ्रेंड ने अपनी एक्स गर्लफ्रेंड के सीने में चाकू मारा है। सिविल लाइन के डिंगापुर रिक्शा पारा में शनिवार (7 जून) को पीड़िता और उसकी मां पूर्व प्रेमी राहुल सारथी (19 साल) के घर उसे समझाने गए थे कि वह उनकी बेटी से दूर रहे, तभी उसने मारपीट की। इसी बीच बचाव करने आई मां को भी चोट लगी है।

मामला रामपुर थाना क्षेत्र का है। राहुल का लड़की के घर आना-जाना था। वह छोटी-छोटी बातों पर टोकता और शक के चलते मारपीट करता था। परेशान होकर रिलेशनशिप के 1 साल बाद लड़की ने उससे ब्रेकअप कर लिया। इसके बाद भी राहुल ने उसका पीछा नहीं छोड़ा। पीड़िता का कहना है कि, लड़के ने जेल से छूटने के बाद भी मारने की धमकी दी है।

नाबालिग के सीने में टांके लगे है।

नाबालिग के सीने में टांके लगे है।

आरोपी राहुल सारथी ने ये फोटो अपने इंस्टाग्राम पेज पर डाली है।

आरोपी राहुल सारथी ने ये फोटो अपने इंस्टाग्राम पेज पर डाली है।

नाबालिग लड़की ने क्या कहा?

वह अक्सर घर आकर गाली-गलौच और मारपीट करता था। उसका कहना है कि तू किसी और कि नहीं हो सकती न होने दूंगा क्योंकि तेरे चक्कर में मोहल्ले और घर में बदनाम हो चुका हूं इसलिए तु मेरे को छोड़कर नहीं जा सकती।

आगे नाबालिग ने बताया कि, मेरे चेहरे पर वो पहले भी मारा है। आंख के ऊपर टांके आए थे, इस बार फिर मारा है तो सीने में टांके आए है। राहुल कुछ काम नहीं करता था। अभी भी वह धमकी दिया है कि जेल से निकल के फिर मारुंगा। वह धमकी देता था कि वह किसी और की नहीं हो सकती। राहुल के पिता स्वास्थ्य विभाग में सरकारी नौकरी करते हैं।

बता दें कि पीड़िता के शरीर पर पहले से भी कई चोटों के निशान हैं। परिजनों की शिकायत के बाद थाने में मामला दर्ज कर लिया गया है। पुलिस ने जांच की बात कही है।

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