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कोरबा

विद्युत आपूर्ति बाधित होने पर तत्काल मरम्मत कराएं, टीम को रखें अलर्ट मोड पर: कलेक्टर

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मौसमी बीमारियों के रोकथाम और आश्रम-छात्रावास के निरीक्षण के दिए निर्देश

समय सीमा की बैठक में हुई विभागीय कार्यों की समीक्षा

कोरबा ।  कलेक्टर अजीत वसंत ने आज समय सीमा की बैठक लेकर टीएल के संबंधित पत्र, विभागीय योजनाओं के क्रियान्वयन और अन्य गतिविधियों पर चर्चा की। कलेक्टर ने आयुष्मान कार्ड की समीक्षा करते हुए सभी जनपद सीईओ एवं नगरीय निकाय के सीएमओ को प्रगति लाने और सीएमएचओ और नगर निगम आयुक्त को मॉनिटरिंग के निर्देश दिए। कलेक्टर ने बारिश के मौसम को देखते हुए विद्युत विभाग को निर्देशित किया कि जिले में बारिश के दौरान बाधित होने वाले विद्युत आपूर्ति को दूर करने कर्मचारियों की टीम को अलर्ट मोड पर रखें। विद्युत आपूर्ति बहाल करने के लिए जो भी फॉल्ट है उसे चिन्हित कर शीघ्रता से दूर करें। उन्होंने बारिश के मौसम में फैलने वाली मौसमी बीमारियों को रोकने स्वास्थ्य विभाग को सतर्क रहने के निर्देश देते हुए आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने जिले के आश्रम-छात्रावासों में भी नियमित निरीक्षण के निर्देश एसडीएम और नोडल अधिकारियों को दिए।

कलेक्टर के सख्त निर्देश-भवन विहीन स्कूल-आंगनबाड़ी केन्द्रों का तत्काल प्रस्ताव बनाएं
कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजित समय-सीमा की बैठक में कलेक्टर श्री वसंत ने भवन विहीन स्कूलों, आंगनबाड़ी केंद्रों की जानकारी एकत्र कर भवन निर्माण प्रस्ताव प्रस्तुत करने के संबंध में आवश्यक कार्यवाही के निर्देश दिए। कलेक्टर ने समय-सीमा के लंबित प्रकरणों की समीक्षा की और लंबे समय से लंबित पत्रों का शीघ्रता से निराकरण के निर्देश दिए। उन्होंने विशेष पिछड़ी जनजाति परिवार के पात्र बेरोजगारों को मानदेय के आधार पर स्वास्थ्य विभाग में दी गई नियुक्ति में नियुक्ति तिथि से मानदेय वृद्धि के निर्देश सीएमएचओ को दिए। इसी तरह शिक्षा विभाग में भृत्य तथा अतिथि शिक्षक के रूप में मानदेय के आधार पर नियुक्त विशेष पिछड़ी जनजाति परिवार के युवाओं को सतत् रूप से कार्य में उपस्थित होने हेतु प्रेरित करने और संबंधित स्कूलों के प्राचार्य को पीवीटीजी का मार्गदर्शन करने के संबंध में जिला शिक्षा अधिकारी को निर्देश दिए।
 उन्होंने 26 जून से प्रारंभ हो रहे स्कूलों में शाला प्रवेशोत्सव का आयोजन करने तथा पात्र स्कूली विद्यार्थियों के जाति प्रमाण पत्र बनाने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने विद्यार्थियों  की जानकारी एकत्र कर 26 जून से 26 जुलाई तक उनके रिकॉर्ड के आधार पर जाति प्रमाण पत्र बनाने के निर्देश एसडीएम को दिए। उन्होंने भू-अर्जन के प्रकरणों में रिकॉर्ड दुरुस्तीकरण के निर्देश एसडीएम सहित संबंधित विभागों को दिए और इस कार्य को गंभीरता से लेने के निर्देश भी दिए। बैठक में कलेक्टर ने संजय नगर रेल्वे क्रॉसिंग अंडरपास निर्माण, दिव्यांग विद्यालय निर्माण, छात्रावास पहुंच मार्ग सहित अन्य महत्वपूर्ण प्रगतिरत कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने लोक निर्माण विभाग, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी, ग्रामीण यांत्रिकी सेवा, सेतु निगम और हाउसिंग बोर्ड के अंतर्गत निर्माणाधीन कार्यों की समीक्षा करते हुए प्रगति लाने के निर्देश दिए। बैठक में कलेक्टर ने विभिन्न विभागों के अंतर्गत अनुकंपा नियुक्ति के प्रकरणों के निराकरण के निर्देश दिए। उन्होंने बारिश के मौसम को देखते हुए दूरस्थ क्षेत्रों के उचित मूल्य के दुकानों में पर्याप्त खाद्यान्न भंडारण के निर्देश खाद्य अधिकारी को दिए। इस दौरान जिला पंचायत सीईओ संबित मिश्रा, निगम आयुक्त श्रीमती प्रतिष्ठा ममगाई सहित सभी अधिकारी उपस्थित थे।

शिक्षकों का संलग्नीकरण समाप्त करें –
बैठक में कलेक्टर ने एकल शिक्षकीय एवं शिक्षक विहीन विद्यालयों में संलग्नीकरण के अलावा अन्य स्थानों पर संलग्न शिक्षकों का संलग्नीकरण समाप्त करने के निर्देश जिला शिक्षा अधिकारी को दिए। उन्होंने विषय विशेषज्ञ शिक्षकों की कमी वाले हाई और हायर सेकेण्डरी स्कूलों में मानदेय के आधार पर डीएमएफ से की जा रही शिक्षकों की नियुक्ति के संबंध में जानकारी ली और निर्देशित किया कि मिडिल स्कूलों में बच्चों की संख्या के आधार पर शिक्षकों की कमी वाले विद्यालयों की सूची प्रस्तुत करें। उन्होंने अतिशेष शिक्षकों वाले विद्यालयों से शिक्षकों को आवश्यकतानुसार अन्यत्र विद्यालय में स्थानांतरित करने एवं शासन को पत्र लिखने के संबंध में निर्देश दिए।

प्रशासनिक कार्यों में लाएं कसावट –
कलेक्टर अजीत वसंत ने सभी एसडीएम को निर्देशित किया कि वे अधीनस्थ तहसीलदारों के कार्यों की समीक्षा करने के साथ ही फील्ड पर कार्यालयों का निरीक्षण तथा विभागीय गतिविधियों का अवलोकन करें। उन्होंने राजस्व से संबंधित प्रकरणों के निराकरण में प्रगति लाने के निर्देश भी दिए। कलेक्टर ने अवैध रेत उत्खनन, शासकीय भूमि पर अतिक्रमण पर त्वरित कार्यवाही के निर्देश एसडीएम को दिए।

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कोरबा

स्थानीय भू विस्थापितों को रोजगार देने पर बनी सहमति: कल की तालाबंदी स्थगित

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अजय जायसवाल ने रखा भू विस्थापितों का बेहतर ढंग से पक्ष: प्रबंधन माना

कोरबा/गेवरा। कल 24 दिसंबर को गेवरा खदान से प्रभावित ग्रामों के बेरोजगार युवाओं को रोजगार दिलाने हेतु गेवरा प्रबंधन के खिलाफ ताला बंदी का ऐलान जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्रीमती रीना अजय जायसवाल के नेतृत्व में आयोजित था, जिसे आगामी निर्णय तक स्थगित कर दिया गया। प्रबंधन द्वारा आज 23 दिसंबर को त्रिपक्षिय वार्ता हेतु आमंत्रित किया गया , जिसमें गेवरा विस्तार परियोजना में नियोजित ठेका कंपनी,एसईसीएल प्रबंधन और जनप्रतिनिधियों, ग्रामवासियों के मध्य वार्ता हुई। वार्ता के दौरान ग्रामीणों ने बताया कि ओवर बर्डन और कोयला उतखनन में लगभग 3000 से ज्यादा ड्राइवर हेल्पर कार्य कर रहे हैं, जिसमें खदान प्रभावित ग्रामों से 5 प्रतिशत लोग भी कार्यरत नहीं हैं। इस मामले को जिला पंचायत कोरबा के पूर्व उपाध्यक्ष एवं कांग्रेस नेता अजय जायसवाल ने गंभीर चिंता का विषय बताते हुए बैठक में भू विस्थापितों का पक्ष रखा और प्रबंधन से कहा-यह बड़ी शर्म की बात है। स्थानीय भू विस्थापित युवकों को रोजगार की लड़ाई लडऩी पड़ रही है और बाहरी लोग आकर सीधे रोजगार प्राप्त कर रहे हैं, जिस पर प्रबंधन को ठोस निर्णय लेने की जरूरत है। स्थानीय बेरोजगार युवकों की अपेक्षा प्रबंधन को भारी पड़ सकता है । अजय जायसवाल ने एसईसीएल प्रबंधन को चेताया कि पहले बेरोजगार स्थानीय युवकों को प्राथमिकता दें, जिसमे प्रबंधन द्वारा भू विस्थापितों के रोजगार हेतु ह्यश द्य&ह्म् के नेतृत्व में कमेटी गठन करने का निर्णय लिया गया, जिसमें अब कोई भी कंपनी सीधी भर्ती नहीं करेगी। भू विस्थापितों का आवेदन पहले कमेटी द्वारा लिया जाएगा, जिसे सत्यापित कर कम्पनियों में नियोजित किया जाएगा। कोई भी कपनी सीधे भर्ती नहीं करेगी और साथ ही यह भी निर्णय लिया गया कि खदान प्रभावित उक्त ग्रामों से युवाओं को एक सप्ताह के भीतर 40 ड्राइवर और 15 हेल्पर को रोजगार देने पर सहमति बनी। उसके पश्चात जनवरी-फऱवरी-मार्च तक आगामी भर्ती में 70 प्रतिशत स्थानीय भू विस्थापितों को रोजगार मिलेगा। अगर प्रबंधन वादाखिलाफ़ी करता है तो हम फिर से सीजीएम कार्यालय गेवरा की तालाबंदी करने मजबूर होंगे और इसकी संपूर्ण जवाबदेही एसईसीएल प्रबंधन की होगी।

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कोरबा

नेत्र रोग विशेषज्ञों से उपचार के बाद भी बढ़ती जा रही थी आंखों की समस्या: पंचकर्म चिकित्सा ने लौटाया पुराना चश्मा

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कोरबा।पंचकर्म चिकित्सा पद्धति पर लोगों का विश्वास बढ़ता ही जा रहा है। कोरबा की प्रसिद्ध पंचकर्म चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ. मनीषा सिंह ने बताया कि आयुर्वेद पंचकर्म चिकित्सा से हर तरह की बीमारियों का ईलाज संभव है। एक ऐसे ही मामले में पंचकर्म चिकित्सा का चमत्कार देखने को मिला। खरमोरा निवासी रेलवे कर्मचारी (मूल निवासी जिल्गा) संजय कुमार बेक पिता रूपन बेक ने बताया कि वह कोरबा सहित बिलासपुर-रायपुर के कई नेत्र रोग विशेषज्ञों से ईलाज कराया, लेकिन आंख में देखने की समस्या दिनों दिन बढ़ती जा रही थी और चश्मे का नंबर बढ़ता ही जा रहा था। उन्होंने बताया कि प्रसाद नेत्रालय में दिखाने पर पहले चश्मा 0.5, फिर 0.7, फिर +1, फिर 1.5, फिर 1.7 होता गया और माइग्रेन की भी समस्या आने लगी। इसके बाद बिलासपुर और रायपुर में भी ईलाज कराया लेकिन कोई फायदा दिखा नहीं।
इसके बाद मंैने पंचकर्म चिकित्सालय के बारे में सुना और पढ़ा तथा वहां पहुंचा। डॉ. मनीषा सिंह ने पंचकर्म चिकित्सा से एक सप्ताह ईलाज किया और मुझे माइग्रेन से राहत मिलने के साथ मेरी आंखों में 0.5 नंबर वाला चश्मा लगा। आंखों की समस्या के कारण मैं तनाव पूर्वक जीवन जी रहा था, लेकिन पंचकर्म चिकित्सा ने मुझे सामान्य जीवन की ओर लौटाया। मेरे चेहरे पर ग्लो भी आने लगा।
पंचकर्म एक चमत्कारिक चिकित्सा पद्धति है- डॉ. मनीषा सिंह
पंचकर्म चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ मनीषा सिंह ने बताया कि संजय कुमार बेक को पंचकर्म से काफी राहत मिली। उनकी आंखों और माईग्रेन में समस्या बढ़ती जा रही थी। नेत्र तर्पण, नेत्रवस्ती के माध्यम से आंखों की रोशनी बेहतर की जा सकती है। पंचकर्म में इतना चमत्कार होता है कि धीरे-धीरे आंखों से चश्मा भी उतर जाता है। उन्होंने बताया कि संजय कुमार बेक को आंखों की समस्या के कारण माइग्रेन भी होने लगा था और बेचैनी होती थी। आंखों की समस्या बढ़ती तो माइग्रेन स्थाई हो जाता और बड़ी गंभीर समस्या पैदा हो सकती थी।
अपनी ही रिपोर्ट फाड़ दी डॉ. प्रसाद ने
महीनों तक ईलाज करने के बाद आखिरी में फिर से आंख का परीक्षण किया गया और रिपोर्ट आने के बाद कर्मचारियों ने रिपोर्ट डॉ. प्रसाद को दिखाई, तो उन्होंने रिपोर्ट को आश्चर्य से देखा और मुझे दिखाए बिना खुद रिपोर्ट फाड़ दी। मैं समझ गया कि यहां ईलाज कराने में कोई फायदा नहीं और मैं वहां ईलाज कराना बंद कर दिया। पंचकर्म ने मुझे नई रोशनी दी और मेरा जीवन सामान्य हो गया। पुराना चश्मा आंखों पर लगा रहा हूं और माइग्रेन की भी समस्या खत्म हो गई। मेरा ईलाज पंचकर्म में जारी है।

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कोरबा

ओव्हर स्पीडिंग और ड्रंक एंड ड्राइव के विरुद्ध ताबड़तोड़ कार्यवाही: 1.64 लाख रूपए का मिला समनशुल्क

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कोरबा। पुलिस अधीक्षक कोरबा के निर्देश पर संपूर्ण जिले में ओवर स्पीडिंग एवं शराब पीकर वाहन चलाने वालों के विरुद्ध वीक एंड पर ताबड़तोड़ कार्यवाही की गई ।
उल्लेखनीय है कि ओवर स्पीडिंग और ड्रंक एंड ड्राइव सडक़ दुर्घटनाओं में प्रमुख कारण रहता है, जिसे देखते हुए सप्ताहांत में दिनांक 21 एवं 22 दिसंबर को संपूर्ण जिले में यातायात सहित सभी थाना,चौकी,पुसके प्रभारियों द्वारा फर्राटेदार तथा शराब पीकर वाहन चालन पर कार्यवाही की गई ?।
अभियान के दौरान ओव्हर स्पीडिंग के 68, शराब पीकर वाहन चलाने पर 70 तथा 229 वाहन चालकों के विरुद्ध मोटर यान अधिनियम की अन्य धाराओं में इस प्रकार कुल 347 वाहन चालकों पर कार्यवाही की गई ।
पुलिस अधीक्षक ने बताया कि ओवर स्पीडिंग एवं ड्रंक एंड ड्राइव पर इसी तरह समय समय पर अभियान चलाया जाएगा ।
ओव्हर स्पीडिंग और अन्य मोटर व्हीकल एक्ट के अंतर्गत उपरोक्त कार्यवाही में 1,64,000 रूपए का शमन शुल्क प्राप्त हुआ, जबकि शराब पीकर वाहन चालन वाले प्रकरण न्यायालय प्रस्तुत किए जाएंगे, जिसका न्यायालय से निराकरण होगा ।

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